ग्राम झाड़ीखैरी के सरपंच पर लगे भ्रष्टाचार के आरोप, कार्यवाही को लेकर अड़े ग्रामीण
सुबह से रात तक अपनी मांगों को लेकर एसडीएम कार्यालय के गेट पर बैठे
डोंगरगांव : जनपद पंचायत छुरिया के ग्राम झाड़ीखैरी में ग्रामीणों ने सरपंच पर एक के बाद एक कई गबन और भ्रष्टाचार के आरोप लगाए जा रहे है l ग्रामीणों ने बताया कि सरपंच के द्वारा 14वे और 15वे वित्त के मद में गलत तरीके से मस्टररोल और फर्जी हाजरी भरकर रुपयों का व्यय किया गया है l
अपने फायदे के लिए शासकीय मद का किया गया दुरुपयोग
ग्रामीणों ने बताया कि पुलिया निर्माण, फर्जी हाजरी, नाबालिक स्कूली बच्चे के नाम से हाजरी जैसे अनेक मामलों की शिकायत जनपद पंचायत सीईओ, कलेक्टर एवं मंत्री से की जा चुकी है l कई बार शिकायत के बाद भी किसी प्रकार की कार्यवाही सरपंच पर नही हुआ है
मामले को लेकर कोर्ट पहुचे ग्रामीण
मामले को लेकर ग्रामीणों ने इसकी शिकायत कोर्ट तक कि है, वहीं ग्रामीणों की माने तो कोर्ट द्वारा एक माह में जांच कर प्रतिवेदन प्रस्तुत करने के लिए कहा गया था l इसके बाद भी कोई जांच हुआ न कोई कार्यवाही इसको लेकर एसडीएम कार्यालय का घेराव किया गया l
जांच के बाद भी नहीं हुआ कार्यवाही
ग्रामीणों ने बताया कि सूचना के अधिकार के तहत जो कॉपी निकली गई है उसमें स्पष्ट है कि सभी शिकायत में जांच हुआ है l जांच के बाद सरपंच को दोसी पाया गया है उसके बाद भी कोई एक्शन नही हुआ हैl
संदेह के घेरे में अधिकारी
ग्रामीणों का कहना है कि जब शिकायत के बाद जांच में दोसी पाया गया तो, अधिकारी सरपंच पर कोई कार्यवाही क्यों नहीं कर रहे हैं l क्या पूरा प्रशासन भ्रष्ट हो गया है, तीन साल से लगातार आवेदन निवेदन किया गया किया जा रहा पर कोई कार्यवाही न होने से अधिकारियों में उंगली उठाना हमारी महबूरी है l
झाड़ीखेरी, छुरिया जनपद पंचायत क्षेत्र के ग्रामीण पहुंचे जिसमे चंदशेखर साहू, बसंत कुमार, पंचराम विश्वकर्मा, कमलेश कुमार, संतोष तारम, हुलेश अर करा, गोलु साहू, कुमारी बाई, प्रीति साहू, पार्वती पाल, सविता विश्वकर्मा, दुर्पत कोराम, बसंता साहू, बिसराम तारम, दयालु तितरम, हिरदे साहू, हुमन मंडावी, रूपेंद्र पडौती, सोमेश्वर पाल सहित अन्य ग्रामीण बडी संख्या में एसडीएम कार्यालय पहुंचे ल
एसडीम श्रीकांत कोराम
ग्राम झाड़ीखैरी जनपद पंचायत छुरिया के ग्रामीण अपनी समस्याओं को लेकर एसडीएम कार्यालय आए थे क्योंकि यह मामला न्यायालय में विचारधीन है इस वजह से इस संबंध में कुछ बोला जाना उचित नहीं है तथा ग्रामीण से आवेदन लेकर उसके आधार पर न्यायालय में कार्रवाई की जाएगी